…. जब पाखंडी को हुए महाकाल के साक्षात् दर्शन।

Himachal Pradesh SIRMOUR (सिरमौर) पॉवटा साहिब

14 जुलाई से पवित्र सावन का महिना आरंभ हो चुका है जोकि 12 अगस्त तक रहेगा। हिंदू पंचांग के अनुसार सावन का महीना साल का पांचवां माह होता है, भगवान भोले भंडारी को सावन माह बेहद ही प्रिय होता है इस महीने में भगवान शिव की विशेष पूजा-अर्चना की जाती है क्यूंकि इस माह में भगवान शिव और माता पार्वती की पूजा-आराधना का ख़ास महत्त्व रहता है। इस महीने हिन्दू दान-पुण्य करते है शिव आराधना करने है, लेकिन धर्म के नाम पर लोगो की आस्था के साथ खिलवाड़ करने वाले कुछ पाखंडी सनातन धर्म को बदनाम कर रहे है , महाकाल के नाम पर लोगो से पैसा बटोरना चाहते है। यदि कोई इन्हें पेसे न दें तो यह लोगो को श्राप देने का डरावा देते है। बीते बुधवार को लोकनिर्माण विश्राम गृह के सामने भी भगवा चोला पहन और हाथ में करमंडल लिए एक पाखंडी लोगो से पेसे मांग रहा था जो नहीं दे रहा था उसे तेरा ” बेड़ा गर्क हो- जय महाकाल” कहकर धमका रहा था। इसी बीच हिन्दुत्व के लिए अपनी जान तक न्योछावर करने वाले शहर के कुछ युवकों के जब यह ड्रामा देखा तो उन्होंने भगवा चोला पहने उस पाखंडी की जमकर क्लास लगाई , उसके बारे में बारीकी से पूछताछ की गयी तो पाखंडी ने खुद को उत्तराखंड का निवासी बताया जो भीख मांगने का काम करता था लेकिन सावन का पवित्र महीने का फायदा उठा कर लोगो को महाकाल का डरावा देकर पेसे बटोरने की नियत से पांवटा साहिब में घूम रहा था। उसने अपने मुह पर भस्म की जगह पाउडर मल रखा था इसके झोले से मेकप का सामान भी बरादम हुआ , नशे में टल्ली उक्त पाखंडी पिटाई से पहले खुद को महाकाल बता रहा था। धर्म के नाम पर लूट करने वाले इस पाखंडी को लोगो ने पहले पानी से इसका मुह धोया , इसका नकली चोला हटाया और बाद में जमकर धोया , इसके कपडे फाड़ कर यहाँ से उत्तराखंड रवाना किया , इसी बीच किसी ने पाखंडी को भोलेनाथ का एक पोस्टर दिखाया और पूछा की ये कौन है ? पाखंडी ने हाथ जोड़ कर कहा “यह महाकाल है ” जिसपर मोके पर मोजूद लोगो ने कहा आज हुए तुझे महाकाल के साक्षात् दर्शन !
महाकाल के दर्शन के बाद पाखंडी वहां से चला गया और बोला की वो आज के बाद ऐसी हरकत ही नहीं करेगा।