शिक्षण संस्थानों को बंद करना बच्चो के भविष्य के साथ खिलवाड़:- मेला राम शर्मा

Himachal Pradesh

सिरमौर न्यूज/राजगढ़

सिरमौर जिला भाजपा प्रवक्ता मेलाराम शर्मा ने प्रदेश की सुक्खू सरकार की कैबिनेट द्वारा लिए गए उस फैसले को तुगलकी फरमान करार दिया है जिसमें प्रदेश के 99 प्राइमरी और मिडिल स्कूलों को बंद करने का निर्णय लिया गया है। जिला भाजपा प्रवक्ता ने कहा कि जब से प्रदेश में कांग्रेस की सरकार सत्तासीन हुई है तब से इस सरकार ने सरकारी दफ्तरों और सरकारी संस्थाओं को बंद करने के सिवाय कुछ भी नहीं किया है । उन्होंने कहा कि सुक्खू सरकार ने सरकारी संस्थाओं को बंद करने की सीमा उस समय लांघ दी है जब छोटे छोटे नोनीहालों की पढ़ाई के लिए खोले गये 89 प्राइमरी स्कूलों और 10 मिडिल स्कूलों को बंद करने का फरमान जारी किया गया। उन्होंने कहा की सुक्खू सरकार के सलाहकार बताएं कि क्या 4 वर्ष का बच्चा पहाड़ी ग्रामीण क्षेत्र में प्राइमरी शिक्षा प्राप्त करने के लिए 2 किलोमीटर की दूरी पैदल तय कर सकता है । उन्होंने कहा कि पिछली सरकारों ने कठिन और दुर्गम इलाकों में ये स्कूल आम लोगों की मांग पर बच्चों को उनके घर द्वार पर शिक्षा मुहैया करवाने के लिए खोले थे जिन्हें अब कांग्रेस सरकार ने बिना सोचे समझे बंद कर दिया है । उन्होंने कहा कि प्रदेश की जनता ने सुक्खू की सरकार को राज्य के कल्याण और विकास के लिए सत्ता में बिठाया था परंतु उन्होंने विकास के नाम पर केवल हजारों सरकारी संस्थाओं और प्राइमरी स्कूलों को बंद करने का घिनौना काम किया है जिसके लिए जनता का भी उन्हें माफ नहीं करेगी।

उन्होंने कांग्रेसी नेताओं से कहा कि वह अपने-अपने क्षेत्र में कांग्रेस सरकार द्वारा किए गए विकास कार्यों के नाम पर जनता को कोई एक ऐसा काम गिनाए जिसे इस सरकार द्वारा डेढ़ वर्ष के कार्यकाल के दौरान क्षेत्र के विकास के लिए किया गया हो। मेलाराम शर्मा ने कहा कि सुक्खू सरकार हिमाचल के इतिहास में विकास की नहीं अपितु विनाश की सरकार के रूप में जानी जाएगी। उन्होंने प्रदेश सरकार को चेतावनी दी कि वह प्राइमरी स्कूलों को बंद करने के तुगलकी फरमान को तुरंत वापस ले वरना प्रदेश की जनता उन्हें कभी माफ नहीं करेगी और प्रदेश के दुर्गम ग्रामीण इलाकों में पढ़ने वाले छोटे-छोटे नौनीहालों की बददुआएं इस सरकार को बर्बाद करके रख देगी।